Saturday, 27 April 2024

भाजपा की 44 दिन पहले ही निर्विरोध जीत

गुजरात की सूरत लोकसभा सीट पर सोमवार को भाजपा के मुकेश दलाल निर्विरोध निर्वाचित हुए। बसपा प्रत्याशी प्यारे लाल भारती और चार निर्दलीय सहित कुल आठ उम्मीदवारों ने नाम वापस ले लिया। गुजरात में पहली बार कोई प्रत्याशी निर्विरोध निर्वाचित हुआ है। 1984 से सूरत सीट पर भाजपा जीत रही है। इस सीट पर 7 मई को वोटिंग होनी थी। कांग्रेsस के प्रत्याशी नीलेश कुंभाणी और डमी प्रत्याशी का नामांकन प्रस्तावकों के हस्ताक्षर में त्रुटि के चलते रविवार को खारिज कर दिया गया था। दैनिक भास्कर की एक रिपोर्ट के अनुसार सूरत में भाजपा की निर्विरोध जीत के लिए कांग्रेsस प्रत्याशी नीलेश कुंभाणी ने ही भाजपा से हाथ मिला लिया था। भाजपा की ओर से कुंभाणी को ऑपरेशन निर्विरोध की क्रिप्ट मिली। इसके अनुसार ही नीलेश कुंभाणी ने कांग्रेस की प्रदेश इकाई को अंधेरे में रखते हुए पैंतरें चले। कुंभाणी ने अपने नामांकन पत्र के प्रस्तावकों में कांग्रेस कैडर कार्यकर्ताओं, मेंबर की बजाए अपने रिश्तेदारों और करीबियों को रखा। पुंभाणी ने अपने पर्चे में प्रस्तावक बहनोई जगदीयां सावलिया और बिजनेस पार्टनर ध्रविन धामेलीया और रमेश पोलरा को बनाया। नीलेश कुंभाणी ने कांग्रेस पार्टी के डमी प्रत्याशी सुरेश पडसाला का प्रस्तावक भी अपने भांजे भौतिक कोलडिया को बनवाया। पर्चा दाखिल करते वक्त भी कुंभाणी किसी भी प्रस्तावक को चुनाव अधिकारी के सामने नहीं ले गए। चारों प्रस्तावकों ने हस्ताक्षर फर्जी होने का शपथ पत्र दे दिया और खुद भूमिगत हो गए। सभी को कारण बताओ नोटिस जारी करने की प्रक्रिया अपनाई जा रही है। कोई भी सामने नहीं आया। इसके बाद कुंभाणी और डमी प्रत्याशी सुरेश पडसाला का पर्चा खारिज हो गया। सूरत में भाजपा के इस आपरेशन निर्विरोध का एपिक सेंटर बना सूरत का फाइव स्टार होटल ली-मैरेडियन, यहां से 24 घंटे तक ऑपरेशन निर्विरोध की कार्रवाई का संचालन हुआ। ये कवायद भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सीआर पाटिल की सीधी निगरानी में हुई। सूरत की जीत 400 पार के लक्ष्य की पहली जीत है। हम इसे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को समर्पित करते हैं यह कहते हैं सीआर पाटिल, गुजरात भाजपाध्यक्ष। उधर कांग्रेsस नेता राहुल गांधी ने कहा ः तानाशाह की असली सूरत फिर देश के सामने है। मैं फिर कह रहा हूं, यह चुनाव देश और संविधान को बचाने का है। जनता से अपने नेता चुनने का अधिकार छीन लेना बाबा साहब अबंडेकर के संविधान को खत्म करने की तरफ बढ़ाया एक और कदम है। राहुल ने लिखा, मैं एक बार फिर कह रहा हूं - यह सिर्फ सरकार बनाने का चुनाव नहीं है, यह देश को बचाने का चुनाव हैं, संविधान की रक्षा का चुनाव है। वहीं जयराम रमेश ने क्रोनोलॉजी समझाते हुए कहा कि लोकतंत्र खतरे में है। उन्होंने एक्स पर लिखा सूरत जिला अधिकारी ने 7 मई 2024 को मतदान से लगभग 2 सप्ताह पहले ही 22 अप्रैल 2024 को सूरत लोकसभा सीट से भाजपा उम्मीदवार को निर्विरोध जिता दिया गया।

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