Tuesday 17 January 2023

राहुल के निशाने पर आरएसएस

राहुल गांधी ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) को 21वीं सदी का कौरव बताया है और कहा है कि धनवानों से उनकी सांठगांठ है। भारत जोड़ो यात्रा के व््राम में हरियाणा और पंजाब के रास्ते पद्यात्रा कर रहे पूर्व कांग्रोस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा—कौरव कौन थे? मैं आपको 21वीं सदी के कौरवों के बारे में बताना चाहता हूं, वो खाकी हाफ पैंट पहनते हैं, हाथों में लाठी लेकर चलते हैं और शाखा का आयोजन करते हैं। भारत के दोतीन अरबपतियों का इनको समर्थन है और इन कौरवों के साथ वह खड़े हैं। बीते वर्ष सितम्बर में दक्षिण भारतीय राज्य केरल की राजधानी तिरुवनंतपुरम से शुरू हुईं पद्यात्रा के दौरान भाजपा और आरएसएस लगातार राहुल गांधी के निशाने पर रहे हैं। राहुल गांधी ने आरएसएस-भाजपा को असली टुकड़ेटुकड़ े गैंग, भय और नफरत की सियासत करने वाला करार दिया था। उन्होंने संघ की तुलना मिरत्र में प्रातिबंधित संगठन मुस्लिम ब्रदरहुड तक से की। राहुल के इतने तल्ख हमलों के बावजूद आरएसएस के रुख को लेकर चर्चा तेज है। राजनीतिक विश्लेषक सवाल कर रहे हैं कि जिस संघ ने महात्मा गांधी की हत्या से जोड़े जाने वाले बयान पर राहुल गांधी को अदालत में घसीटा था, वह हाल के वक्तव्यों पर उतना हो-हल्ला क्यों नहीं कर रहा है? हालांकि आरएसएस के नेता इंद्रेश वुमार ने पिछले दिनों जरूर राहुल गांधी की यात्रा पर सवाल उठाए थे। मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा था—भारत में कईं लोगों ने यात्राएं की हैं, लेकिन राहुल गांधी नफरत वाली भाषा इस्तेमाल करते हैं। आरएसएस को लगातार निशाना बनाकर वह भारत को जोड़ने की नहीं बल्कि तोड़ने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन आरएसएस का शीर्ष नेतृत्व इस पर खामोश है। इसके उलट राम मंदिर ट्रस्ट के दो अहम पदाधिकारियों-जनरल सैव््रोटरी चम्पत राय और कोषाध्यक्ष स्वामी गोविंद देव गिरी ने भारत जोड़ो यात्रा को लेकर ऐसे बयान दिए हैं, जिन्हें वुछ लोग राहुल गांधी की तारीफ के तौर पर देख रहे हैं। चम्पत राय ने अपने बयान में आरएसएस से अपने रिश्ते पर भी जोर दिया। चम्पत राय ने कहा—देश में एक नौजवान पैदल चल रहा है। अच्छी बात है। इसमें खराब बात क्या है? मैं राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का कार्यंकर्ता हूं। संघ से किसी ने आलोचना की है क्या? प्राइम मिनिस्टर साहब ने उनकी यात्रा की आलोचना की है क्या? एक नौजवान देश का भ्रमण कर रहा है, देश को समझा रहा है, यह एक प्राशंसा की बात है। 50 साल का नौजवान हिन्दुस्तान के तीन हजार किलोमीटर की दूरी पैदल चलेगा और इस मौसम में भी चलेगा तो इसको हम एप्रीशिएट (तारीफ) ही करेंगे। चम्पत राय विश्व हिन्दू परिषद के उपाध्यक्ष भी हैं। उन्होंने यह बयान उस सवाल के जवाब में दिया था, जिसमें पूछा गया था कि राम मंदिर के मुख्य पुजारी सत्येंद्र दास ने भारत जोड़ो यात्रा को आशीर्वाद दिया है, उस पर वह क्या कहेंगे। स्वामी गोविंद देव गिरी ने कहा—जो भी भगवान राम का नाम लेता है, जो भारत माता का नाम लेता है और उसके लिए वुछ करता है, हम उसे सराहेंगे और कहेंगे कि भगवान राम उन्हें प्रोरणा दें ताकि देश संगठित और सक्षम रह सके। कांग्रोस इन बयानों को राहुल गांधी और यात्रा की तारीफ के तौर पर पेश कर रही है। खासतौर पर राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव चम्पत राय के बयान को। क्या भाजपा और संघ में वुछ मतभेद पैदा हो गए हैं?

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