Thursday, 19 September 2024

पीएम पद की पेशकश ठुकराई


भाजपा नेता राव इंद्रजीत सिंह, अनिल विज और नितिन गडकरी इन तीनों के बयान आजकल सुर्खियों में बने हुए हैं। राव इंद्रजीत सिंह और अनिल विज ने तो खुलकर हरियाणा के मुख्यमंत्री पद पर अपनी दावेदारी पेश कर दी है। वहीं नितिन गडकरी के एक बयान को भी विपक्ष के कुछ नेता उसी रूप में देख रहे हैं। पिछले हफ्ते केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने दावा किया, मुझसे किसी नेता ने कहा कि अगर आप प्रधानमंत्री बनते हैं तो हम लोग आपका समर्थन करेंगे। कई बार विपक्षी नेता नितिन गडकरी को भाजपा के एक ऐसे नेता के रूप में पेश करते रहे हैं, जिनके पीएम नरेन्द्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह से संबंध अच्छे नहीं हैं। ऐसी अटकलों को हवा कई बार गडकरी के कुछ बयानों से भी मिली। इसी कड़ी में गडकरी का ताजा बयान भी शामिल है। 14 सितम्बर 2024 को केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने नागपुर में एक कार्यक्रम में शिरकत करते हुए कहा मैं किसी का नाम नहीं लेना चाहता लेकिन एक बार किसी ने कहा था कि अगर आप प्रधानमंत्री बनने जा रहे हो तो हम आपका समर्थन करेंगे। गडकरी ने कहा मैंने पूछा कि आप मेरा समर्थन क्यों करेंगे और मैं आपका समर्थन क्यों लूं? प्रधानमंत्री बनना मेरी जिन्दगी का लक्ष्य नहीं है। मैं अपने संगठन और प्रतिबद्धता के प्रति ईमानदार हूं। मैं किसी पद के लिए समझौता नहीं करूंगा। मेरे लिए दृढ़ता सर्वोपरि है। गडकरी के बारे में कहा जाता है कि वह विपक्षी पार्टियों में भी अच्छी पैठ रखते हैं। हाल ही में इंडियन एक्सप्रेस के एक कार्यक्रम आइडिया एक्सचेंज में गडकरी से इसे लेकर सवाल पूछा गया था, सवालö आप उन कुछ भाजपा नेताओं में से हैं जो विपक्ष को दुश्मन या देश विरोधी नहीं मानते हैं। गडकरी ने जवाब दिया हम दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र हैं। लोकतंत्र में सत्तापक्ष और विपक्ष दल होते हैं। ये कार या ट्रेन के पहियों की तरह अहम होते हैं और संतुलन जरूरी है। सबका विकास, सबका प्रयास हमारी भावना यही होनी चाहिए। गडकरी के बयान पर शिवसेना (यूटी) सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने सोशल मीडिया पर लिखा नितिन गडकरी जो शीर्ष की कुर्सी के लिए अपनी दिली ख्वाइश व्यक्त कर रहे हैं। वो इसके लिए विपक्षी दलों के बहाने मोदी जी को संदेश भेज रहे हैं। आरजेडी नेता मनोज झा ने कहा भाजपा में प्रधानमंत्री पद के लिए लड़ाई शुरू हो चुकी है। आने वाले महीनों में आपको इसके नतीजे देखने को मिल सकते हैं। क्या इस बार भाजपा ने नरेन्द्र मोदी को प्रधानमंत्री चुना था? उन्हें एनडीए ने चुना था। दरअसल 2024 के नतीजों के बाद भाजपा की संसदीय दल बैठक नहीं हुई? क्यों नहीं हुई? क्या मोदी जी को डर था कि बैठक में उनके नेतृत्व पर सवाल उठेंगे और हो सकता है कि बगावत की स्थिति आ जाए। राज्यसभा के पूर्व सांसद और राजनीतिक विश्लेषक कुमार केतकर से सवाल पूछा गया कि क्या गडकरी भाजपा में नरेन्द्र मोदी की जगह ले सकते हैं? केतकर ने कहा कि अगर मोदी विश्वास प्रस्ताव हारते हैं तो दूसरे उम्मीदवार की मांग होगी, ऐसे में नितिन गडकरी उभर सकते हैं। गडकरी भाजपा में भी और संघ में भी पसंद किए जाते हैं। लोगों का तो कहना है कि गडकरी के पीछे संघ पूरी तरह खड़ा है। अगर भाजपा आगामी चार राज्यों के चुनावों में अच्छा प्रदर्शन नहीं करती है तो संभव है कि गुजरात लॉबी को चुनौती मिले और उस सूरत में नितिन गडकरी पहली पसंद हो सकती है। गडकरी बहुत सोच समझकर बयान देते हैं। उनके बयानों के कई मतलब निकाले जा सकते हैं।

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