पाकिस्तान की वित्तीय
सहायता पर रोक लगाने और अब अमेरिका ने पाकिस्तानी आतंकियों के खिलाफ सीधी कार्रवाई
खुद ही करनी शुरू कर दी है। अमेरिका ने गत बुधवार को पाकिस्तान-अफगानिस्तान सीमा पर ड्रोन से हमला कर हक्कानी नेटवर्क के दो
कमांडरों सहित दो आतंकियों को ढेर कर दिया है। यह हमला अफगानिस्तान के पास पाकिस्तानी
जनजाति वाले खुर्रम प्रांत के पास एक घर को ड्रोन से उड़ा दिया। डॉन न्यूज के मुताबिक
उत्तरी वजीरिस्तान में हुए इस हमले में हक्कानी नेटवर्क के कमांडर एहसान उर्फ ख्वारी
और उसके दो साथी कथित रूप से मारे गए हैं। अमेरिका ने खैबर पख्तूनख्वाह और ओराकजई के
हांगू जिले के बीच दो देशों की सीमाओं पर स्थित त्राल क्षेत्र में एक घर पर ड्रोन से
दो मिसाइलें दागी थीं। हाल ही में 17 जनवरी को भी पाक-अफगान सीमा पर अमेरिका ने पाकिस्तान के आतंकियों पर ड्रोन से हमला किया था।
बुधवार को यहां इसी साल दूसरी बार ड्रोन हमला हुआ है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप
द्वारा की गई अफगान नीति की घोषणा के बाद से यहां लगातार कार्रवाई की जा रही है। आतंकवादियों
के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई करने में विफल रहे पाकिस्तान की सुरक्षा सहायता में बड़ी
कटौती किए जाने के अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के आदेश के एक महीने के भीतर वाशिंगटन
ने अफगान तालिबान तथा हक्कानी नेटवर्क के छह आतंकवादियों को भी प्रतिबंधित कर दिया
है। अमेरिकी ट्रेजरी विभाग की ओर से आतंकवाद के मुकाबले के लिए पोषित प्रतिबंधों के
मुताबिक दो पाकिस्तानी और पाकिस्तान में रह रहे चार अफगानी नागरिकों के अमेरिकी वित्तीय
प्रणाली के इस्तेमाल पर रोक लगा दी गई है। अमेरिका का यह कदम विद्रोही समूहों को सुरक्षित
शरणस्थली और अन्य सहायता देने को लेकर पाकिस्तान के प्रति उसके गुस्से का भी इजहार
करता है। राष्ट्रपति ट्रंप ने नववर्ष के अवसर पर एक ट्वीट में कहाöअमेरिका पिछले 18 वर्षों से पाकिस्तान को 33 अरब डॉलर मदद करने की मूर्खता कर चुका है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप
ने यह तो साबित कर दिया है कि वह जो कहते हैं, करते हैं। उन्होंने
कई बार पाकिस्तान को चेतावनी दी कि वह अपनी धरती पर आतंकवादियों को पनाह देने से बाज
आए। पर पाकिस्तान ट्रंप की चेतावनी को नजरंदाज करता रहा है। यह बताने के लिए कि अमेरिका
अब सीधी कार्रवाई करेगा इसलिए भी अब ड्रोन से पाक के अंदर हमले हो रहे हैं।
-अनिल नरेन्द्र
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