Friday 6 August 2021

चौटाला चाहते हैं नीतीश तीसरे मोर्चे का नेतृत्व करें

राजनीति में कुछ भी बेमतलब नहीं होता। हर मुलाकात का कोई न कोई मंतव्य छिपा होता है। भले ही उसे शिष्टाचार या कोई और रूप दिया जाए। हरियाणा के पांच बार मुख्यमंत्री रह चुके इनेलो प्रमुख ओम प्रकाश चौटाला और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की रविवार को हुई मुलाकात को भी इसी राजनीतिक मंतव्य की एक कड़ी के रूप में देखा जा रहा है। राजना]ित के धुरंधर खिलाड़ी माने जाने वाले दोनों मित्रों ने बंद कमरे में घंटों बातचीत की। भोजन भी किया और राजनीति पर चर्चा भी। लगता है कि श्री चौटाला की रणनीति है कि तीसरे मोर्चे की परिकल्पना को साकार करने के लिए नीतीश कुमार उसका नेतृत्व करें। हालांकि नीतीश ने अभी अपने पत्ते नहीं खोले हैं। नीतीश कुमार इनेलो प्रमुख ओम प्रकाश चौटाला के गुरुग्राम स्थित आवास पर मिलने खुद पहुंचे। जनता दल (यू) के महासचिव डॉ. केसी त्यागी इस मुलाकात के सूत्रधार बने। जेबीटी शिक्षक भर्ती मामले में 10 साल की सजा पूरी कर चौटाला जब जेल से बाहर आए तो त्यागी उनसे मिलने गए थे। उस समय चौटाला की बाजू में फ्रैक्चर था। उनकी गाड़ी का भारी एक्सीडेंट हो गया था और उसके कारण उनके हाथ में फ्रैक्चर हो गया था। त्यागी और चौटाला ने उस समय साथ-साथ भोजन किया और दोनों के बीच करीब दो घंटे तक बातचीत हुई। त्यागी ने वहीं से चौटाला और नीतीश कुमार की बात कराई। उसी समय नीतीश ने चौटाला का भोजन निमंत्रण स्वीकार कर लिया था। तब संभावना जताई जाने लगी थी कि सरकारें बनाने और बिगाड़ने में माहिर चौटाला जेल से बाहर आने के बाद चैन से बैठने वाले नहीं हैं। दोनों नेताओं ने मुलाकात का दिन भी सोच-समझ कर रखा। रविवार को फ्रेंडशिप डे था। नीतीश कुमार अपने पुराने दोस्त के लिए शाल लेकर आए। शाल ओढ़ाकर सम्मान किया तो अभिभूत चौटाला ने नीतीश को अपने हाथों से भोजन परोसा। इनेलो के प्रधान महासचिव अभय सिंह चौटाला और केसी त्यागी भी इस मुलाकात के गवाह बने। केसी त्यागी से मुलाकात के बाद चौटाला ने जिस दम-खम के साथ यह बयान दिया कि वह भाजपा व कांग्रेस के विरुद्ध तीसरे मोर्चे का गठन करना चाहते हैं, तभी लग रहा था कि चौटाला कुछ ऐसा करेंगे, जिसके जरिये न केवल इनेलो के काडर बेस कार्यकर्ता को दोबारा पार्टी में पूरी मजबूती के साथ जोड़ा जाए, साथ ही पोते दुष्यंत चौटाला के जननायक जनता पार्टी बनाकर भाजपा के साथ खड़ा होने के फैसले पर भी सवाल उठाए जा सकें। चौटाला की रणनीति है कि तीसरा मोर्चे का गठन हो। वहीं जद (यू) के राष्ट्रीय संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा ने रविवार को दावा किया कि बिहार में अगर आज चुनाव हों तो जनता दल यूनाइटेड सबसे बड़ी पार्टी की भूमिका में होगी। उन्होंने यह भी कहा कि आज भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं। लेकिन देश में कई पीएम मेटिरियल हैं, जिनमें एक बिहार के मुख्यमंत्री और जद (यू) के नेता नीतीश भी हैं, उनकी लोकप्रियता देशभर में है और उनमें पीएम बनने के सारे गुण हैं। चौटाला अपने पुराने साथियों और पिता चौधरी देवी लाल के मित्रों को बहुत महत्व देते हैं। वह इस बार भी स्वर्गीय देवी लाल की जयंती पर 25 सितम्बर को राज्य स्तरीय समारोह का आयोजन करने वाले हैं। चौटाला का दावा है कि तमाम विपक्षी दलों के नेताओं से मुलाकात के बाद वह इसी जयंती समारोह में तीसरे मोर्चे के गठन का विधिवत ऐलान कर देंगे।

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