ब्रिटेन
में एक बार फिर ब्रेक्जिट मुद्दे पर टेरेसा मे की सरकार संकट में आ गई जब ब्रेक्जिट
डील यानि यूरोपीय यूनियन से बाहर होने की योजना को संसद ने भारी बहुमत से खारिज कर
दिया। ब्रेक्जिट डील जिसको ब्रिटेन की प्रधानमंत्री टेरेसा मे ने अपनी प्रतिष्ठा का
सवाल बनाया हुआ था उसके विरोध में संसद में
432 वोट पड़े और पक्ष में सिर्प 202 वोट मिले।
यानि 230 मतों से सरकार की हार हुई। यहां तक कि टेरेसा की कंजर्वेटिव
पार्टी के 118 सांसदों ने भी डील के खिलाफ वोट दिया। ब्रिटेन
की संसद में किसी बिल या मसौदे पर यह किसी भी मौजूदा सरकार की सबसे बड़ी हार है। ब्रिटेन
के 311 साल के संसदीय इतिहास में कभी भी कोई सरकार इतने बड़े
अंतर से नहीं हारी। पर इतनी बड़ी हार के बावजूद फिलहाल टेरेसा मे ने अपनी सरकार गिरने
से बचा ली है। टेरेसा
मे की सरकार ने गत बुधवार को ब्रिटिश संसद में 19 वोट ज्यादा
हासिल करते हुए विश्वास मत साबित कर दिया, उससे उनके लिए ब्रेक्जिट
समझौते पर सांसदों के बीच आम सहमति बनाने का रास्ता साफ हो गया। ब्रेक्जिट समझौते पर
हुए मतदान में गत मंगलवार को बुरी तरह हारने के महज 24 घंटे के
अंदर पेश हुए विश्वास मत प्रस्ताव पर 325 सांसदों ने मे की सरकार
को समर्थन दिया, जबकि 306 वोट उनके विरोध
में पड़े। इससे ब्रिटेन के यूरोपियन संघ से बाहर होने का रास्ता अब भी खुला है। ब्रेक्जिट
के लिए कानूनन तय की गई 29 मार्च की तारीख की तरफ बढ़ती घड़ी
की टिक-टिक के बीच ब्रिटेन आधी सदी के सबसे गहन संकट में फंस
गया है। जबकि 1973 में यूरोपियन संघ का हिस्सा बने ब्रिटेन को
बाहर निकलने के लिए कैसे और कहां तक, जैसे सवालों से जूझना है।
अविश्वास प्रस्ताव के गिरने से सरकार जरूर बच गई है, पर उन्हें
अब एक साथ कई मोर्चों पर जूझना होगा। ब्रिटेन ने जून 2016 में
रायशुमारी के जरिये 28 देशों के यूरोपीय संघ से अलग होने का फैसला
किया था, जिसकी वजह से तत्कालीन प्रधानमंत्री डेविड कैमरन को
सत्ता गंवानी पड़ी थी। अभी यह स्पष्ट नहीं है कि टेरेसा मे क्या संसद में दोबारा बिल
लेकर आएंगी या फिर यूरोपीय संघ से बात कर समझौते में कोई बदलाव करेंगी या फिर नया प्रस्ताव
संसद में लेकर आएंगी? यूरोपीय संघ में दोबारा जाने का मतलब यह
भी है कि उन्हें संघ के 27 देशों को नए प्रस्ताव के लिए राजी
करना होगा और इसके लिए समय कम है। यूरोपीय संघ ने टेरेसा मे को ब्रेक्जिट पर अपना रुख
जल्द स्पष्ट करने को कहा है। यूरोपीय संघ के अध्यक्ष जीन क्लाउड जकर ने कहा कि मैं
ब्रिटेन से अपील करता हूं कि वह जल्द से जल्द अपनी मंशा स्पष्ट करें। टेरेसा विश्वास मत हासिल करने
के बाद फिर दोबारा जनमत संग्रह करवा सकती हैं या फिर वह गतिरोध खत्म करने के लिए आम
चुनाव का भी फैसला ले सकती हैं। समय कम है देखें वह क्या करती हैं।
-अनिल नरेन्द्र
No comments:
Post a Comment