Friday, 10 July 2015

अब तक 83-दया नायक की रोचक कहानी

कुछ वर्ष पहले बॉलीवुड की एक फिल्म अब तक छप्पन आई थी। उसमें हीरो का रोल नाना पाटेकर ने निभाया था। लोगों का कहना था कि यह फिल्म मुंबई के एनकाउंटर स्पेशलिस्ट दया नायक पर आधारित है। खबर आई है कि एकाउंटर स्पेशलिस्ट दया नायक को निलंबित कर दिया गया है। नागपुर में तैनाती दिए जाने के बाद दया नायक ने परिवार की सुरक्षा का हवाला देते हुए ज्वाइन करने से इंकार कर दिया था। नायक का कहना है कि उनके परिवार से पुलिस सुरक्षा हटा ली गई है, ऐसे में वो अपने परिवार को अकेला छोड़कर नहीं जा सकते हैं। मुंबई अंडर वर्ल्ड के 80 से अधिक अपराधियों का एनकाउंटर करने वाले दया नायक पिछले कुछ सालों में खासा विवाद में भी घिरे रहे, अब आय से अधिक सम्पत्ति को लेकर उनके खिलाफ जांच शुरू की गई थी। दया नायक की जीवनी भी कम दिलचस्प नहीं है। कर्नाटक के एक छोटे से गांव से मुंबई पुलिस तक की दया नायक की जिन्दगी भी कम रोचक नहीं है। सातवीं की पढ़ाई खत्म करने के बाद बड्डा और राधा नायक का यह सबसे छोटा बेटा करीब तीन दशकों में मुंबई पुलिस का सबसे दबंग, चर्चित और विवादित अफसर बन गया। दया नायक का परिवार जब गांव छोड़कर मुंबई आया था, तब उनका ठिकाना एक होटल का पोर्टिको हुआ करता था, जहां दया के पढ़ने के लिए स्ट्रीट लाइट की भरपूर रोशनी हुआ करती थी। दया ने गोरे गांव से 12वीं और अंधेरी में एक कॉलेज से ग्रेजुएशन की पढ़ाई की। पढ़ाई खत्म करने के बाद दया ने प्लम्बर अप्रैंटिस का काम करना शुरू कर दिया। बस यही वो मोड़ था, जहां से दया नायक की जिन्दगी बदल जाने वाली थी। प्लम्बरिंग के काम के दौरान ही दया नायक की मुलाकात नारकोटिक्स विभाग के कुछ अधिकारियों से हुई। बस इसी मुलाकात में दया को यूनीफार्म का शौक पैदा हो गया और आखिरकार 1995 में दया जुहू में सब-इंस्पेक्टर के तौर पर नियुक्त किए गए। यही वो दौर था जब मुंबई में अंडर वर्ल्ड सक्रिय था और सड़कों पर गैंगवार आम बात हुआ करती थी। बस इसके बाद से ही नायक की रफ्तार इतनी तेज हो गई कि फिर पीछे मुड़कर नहीं देखा। 1996 में नायक ने पहला एनकाउंटर किया था, जो अब तक 83 तक पहुंच चुका है। नायक के रसूख का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि 2002 में गलत तरीके से सम्पत्ति अर्जित करने के आरोप लगने के दौरान ही नायक ने अपने गांव में अपनी मां के नाम पर एक स्कूल खोला था, जिसके उद्घाटन पर कर्नाटक के शिक्षामंत्री सहित देश की कई हस्तियां मौजूद थीं। इसके बाद साल 2004 में मकोका कोर्ट ने एंटी करप्शन ब्रांच को दया नायक की सम्पत्ति की जांच के निर्देश दिए।

-अनिल नरेन्द्र

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