Wednesday 21 December 2016

कश्मीर में 2016 में जवानों पर हमलों का इजाफा

सर्जिकल स्ट्राइक के ढाई महीने बाद ही आतंकी संगठन लश्कर--तैयबा ने दक्षिण कश्मीर को फिर से मजबूत किला बना लिया है। लश्कर के नेटवर्क विस्तार से सुरक्षा एजेंसियां चौकन्नी हुई हैं। एजेंसियों को झेलम नदी से आतंकियों की घुसपैठ की खबरें निरंतर मिल रही हैं। झेलम से सटे पंपोर में सेना के काफिले पर हुए हमले से घुसपैठ की सूचना की तस्दीक होती है। आतंकी पंपोर में इससे पहले भी सीआरपीएफ और सेना के काफिलों को निशाना बना चुके हैं। याद रहे कि पंपोर में ही उद्यमिता विकास संस्थान के भवन पर आतंकियों ने कब्जा कर लिया था जिसे खाली कराने में सुरक्षा बलों को 60 घंटे लग गए थे। नोटबंदी के कारण आतंकियों और उपद्रवियों को नकदी मिलनी बंद हो गई थी। इस कारण हिंसा, उपद्रव और आतंकी हमले की वारदातों में भी कुछ दिनों तक कमी आई। लश्कर ने अब कश्मीर में बैंक से नकदी लूटने की वारदातों को अंजाम देना शुरू कर दिया है। हवाला नेटवर्क भी सक्रिय हुआ है। इसके माध्यम से भी उपद्रवियों को फंड मिलने लगे हैं। सुरक्षा एजेंसियों को इनपुट मिला है कि आतंकियों के फिदायीन हमले और बढ़ सकते हैं। इस साल अब तक सात फिदायीन हमले हो चुके हैं। जम्मू-कश्मीर में साल 2016 सुरक्षा बलों के जवानों के लिए मुश्किल भरा रहा है। आतंकियों ने इस साल 87 जवानों की जान ले ली है। 2008 के बाद यह साल सबसे ज्यादा खूंखार रहा है। सैन्य शिविरों पर घात लगाकर हमले किए गए। सेना के मुख्यालय से लेकर हवाई अड्डे तक पर आतंकी हमले हुए हैं। 2015 के मुकाबले 2016 में सुरक्षा बलों के कर्मियों की मौत में 82 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है। यह निष्कर्ष गृह मंत्रालय की छह दिसम्बर को लोकसभा में रखी गई चार साल की रिपोर्ट से निकला है। इसमें सरकार ने 27 नवम्बर तक के आंकड़े दिए हैं। सितम्बर में उड़ी में आर्मी कैंप पर आतंकी हमले में ही 19 जवान शहीद हुए थे। इस हमले के बाद भारतीय सेना ने आतंकियों के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक की थी। सेना ने पीओके में घुसकर कई आतंकी कैंपों को नेस्तनाबूद किया था, लेकिन सर्जिकल स्ट्राइक के बाद से सुरक्षा बलों पर आतंकी हमलों की वारदातों में इजाफा हुआ है। दक्षिण कश्मीर के पुलवामा में अभी शनिवार को ही सेना के काफिले पर बाइक सवार दो आतंकियों ने हमला किया था। दुख से यह निष्कर्ष निकलता है कि लश्कर--तैयबा ने सर्जिकल स्ट्राइक में तबाह हुए पीओके के कैंपों और लांचिंग पैडों को फिर से जिन्दा कर लिया है। लोकसभा में पेश सरकार के आंकड़ों के मुताबिक पाकिस्तान ने 2016 (26 नवम्बर तक) में कश्मीर में सेना नियंत्रित रेखा पर 216 बार संघर्षविराम का उल्लंघन किया है।

-अनिल नरेन्द्र

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