Tuesday, 14 August 2018

चीन का दोहरा चरित्र उजागर ः 10 लाख मुस्लिम कैद में

आतंकवाद के मसले पर खासतौर पर जमात-उद-दावा उर्प लश्कर--तैयबा के खुफिया के मसले पर अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर पाकिस्तान का लगातार बचाव करने वाले चीन का दोहरा चरित्र कि वह खुद कैसे अपने देश में आतंकवाद से निपटता है यह ताजा संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट से उजागर हो गया है। इन रिपोर्टों के मुताबिक चीन ने 10 लाख से ज्यादा उइगर मुस्लिमों को कथित तौर पर कट्टरवाद विरोधी गुप्त शिविरों में कैद करके रखा है और 20 लाख अन्य को विचारधारा बदलने का पाठ पढ़ाया जा रहा है। पूरी दुनिया में अपने यहां होने वाले मानवाधिकार हनन को लेकर बदनाम चीन का इस तरह एक और खौफनाक चेहरा सामने आया है। चीन ने अपने इकलौते मुस्लिम राज्य शिनजियांग में 10 लाख से ज्यादा उइगर मुस्लिमों को देश विरोधी गतिविधियों के नाम पर खुफिया सामूहिक हिरासत शिविरों में बंदी बना रखा है। संयुक्त राष्ट्र नस्ली भेदभाव उन्मूलन समिति की सदस्य मैकडॉगल के मुताबिक इस पर संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार पैनल ने भी चिन्ता जाहिर की है। समिति ने इस संबंध में चीन के हालिया वर्षों के रिकार्ड का अध्ययन किया है। मालूम हो कि उइगर मुस्लिम चीन के पश्चिमी शिनजियांग प्रांत में बहुसंख्यक हैं और चीन ने इस  प्रांत को स्वायत्त घोषित कर रखा है। संयुक्त राष्ट्र की इस समिति ने शुक्रवार से जिनेवा में चीन की रिपोर्ट की समीक्षा शुरू की। समिति के उपाध्यक्ष मैकडॉगल ने कहाöहमें मिली विभिन्न और विश्वसनीय रिपोर्टों से समिति के सदस्य बेहद चिंतित हैं। सामाजिक स्थिरता और धार्मिक कट्टरता से निपटने के नाम पर (चीन ने) उइगर स्वायत्त क्षेत्र को कुछ ऐसा बना दिया है जो गोपनीयता के आवरण में ढका बहुत बड़ा नजरबंदी शिविर जैसा है। निगरानी समूहों का भी कहना है कि उइगरों को चौकसी और सुरक्षा अभियानों के बहाने निशाना बनाया गया है। हजारों उइगर मुस्लिमों को हिरासत में रखा गया है और उन्हें विचारधारा बदलने वाले केंद्रों में भेज दिया गया है। उन्होंने साफ कहा कि सिर्प अपनी धार्मिक पहचान की वजह से उइगरों के साथ चीन में दुश्मनों की तरह बर्ताव किया जा रहा है। विदेशों से शिनजियांग प्रांत में लौटने वाले सैकड़ों उइगर छात्र गायब हो गए हैं। उनमें से कई हिरासत में हैं और हिरासत में कई मर भी चुके हैं। न्यूयार्प टाइम्स के मुताबिक बैठक में मौजूद 50 सदस्यीय चीनी प्रतिनिधिमंडल के सदस्यों ने मैकडॉगल के आरोपों पर चुप्पी साध ली है। हालांकि संयुक्त राष्ट्र संघ में चीन के राजदूत यू च्येनह्वा ने अल्पसंख्यकों के लिए चीन की नीतियों को सद्भाव और एकता बढ़ाने वाला बताया है। 2014 में शिनजियांग की सरकार ने रमजान के महीने में मुस्लिम कर्मियों को रोजा रखने और दाढ़ी बढ़ाने पर भी पाबंदी लगा दी थी। राष्ट्रपति जिनपिंग के आदेश पर मस्जिद, मदरसे ढहा दिए गए।

-अनिल नरेन्द्र

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