Wednesday, 1 August 2018

मिस्टरö56 के दोस्त को करदाता देंगे 1 लाख करोड़ ः राहुल गांधी

राफेल विमान सौदा उलझता ही जा रहा है। राफेल विमान सौदे में कथित अनियमितता को लेकर कांग्रेस नरेन्द्र मोदी सरकार पर निरंतर हमले करती जा रही है। कांग्रेस ने दावा किया है कि इस लड़ाकू विमान सौदे के संदर्भ में मिस्टर-56 के दोस्त को भारत के करदाता देंगे 1 लाख तीस हजार करोड़ रुपए। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने शनिवार को दावा किया कि 36 विमानों के रखरखाव के लिए अगले 50 वर्षों में देश के करदाताओं को एक निजी भारतीय समूह के संयुक्त उपकम को एक लाख तीस हजार करोड़ रुपए देने होंगे। राहुल ने पीएम मोदी का परोक्ष रूप से हवाला देते हुए ट्वीट किया ः अगले 50 वर्षों में भारतीय कारदाताओं को मिस्टर-56 के दोस्त के संयुक्त उपकमों को 36 राफेल विमानों के रखरखाव के लिए एक लाख तीस हजार करोड़ रुपए का भुगतान करना होगा। उन्होंने निजी कंपनी से संबंधित कुछ दस्तावेज शेयर करते हुए कहा ः रक्षामंत्री (निर्मला सीतारमण) हमेशा की तरह पेस कांपेंस को संबोधित करेंगी और इससे इंकार करेंगी। लेकिन यह जो दस्तावेज सामने रख रहा हूं, उसमें तथ्य मौजूद हैं। गौरतलब है कि कांग्रेस ने इस मामले में पधानमंत्री मोदी और रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण के खिलाफ लोकसभा में विशेषाधिकार हनन का नोटिस दे रखा है। उधर पार्टी के मीडिया पभारी रणदीप सुरजेवाला ने आरोप लगाया कि सरकार इस मुद्दे पर देश को धोखा दे रही है। घोर पूंजीवाद की संस्कृति उसके डीएनए में है। उन्होंने कहा कि राफेल सौदे का डिफेंस ऑफसेट कान्ट्रेक्ट लड़ाकू विमान बनाने में अनुभवहीन कंपनी रिलायंस डिफेंस को सौंपा है। पधानमंत्री ने 10 अपैल 2015 को फांस में 36 राफेल विमान खरीदने की घोषणा की थी। इसके 12 दिन पहले ही रिलायंस डिफेंस बनी थी और उसके पास लड़ाकू विमान बनाने का लाइसेंस भी नहीं था। उन्होंने कहा कि रक्षा मंत्रालय ने 22 फरवरी 2016 को कंपनी को लाइसेंस दिया था। तब तक उसके पास जमीन या कोई इमारत भी नहीं थी। उन्होंने दावा किया कि रिलायंस के ऑफसेट कान्ट्रेक्ट को रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण ने मंजूरी भी नहीं दी है, जो कि नियमों का उल्लंघन है। कांग्रेस के आरोप खारिज करते हुए भाजपा ने कहा कि बार-बार एक ही बात दोहराई जा रही है। पार्टी पवक्ता सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि केन्द्राrय मंत्री और फांस की सरकार कांग्रेस के आरोपों को झूठा साबित कर चुकी है। अब वह लोग हताशा में आरोप लगा रहे हैं। सच क्या है यह तो समय ही बताएगा?

-अनिल नरेन्द्र

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