Sunday 15 June 2014

इराक में अबू बकर अल बगदादी दूसरे ओसामा बिन लादेन

इराक में सुन्नी आतंकवादियों ने देश के दो बड़े शहरों पर कब्जा कर लिया है। दो साल पहले अमेरिकी फौज इराक से हट गई थी उसके बाद के सबसे बड़े संकट से इराक रूबरू है। इराक के दूसरे सबसे बड़े शहर मोसुल पर सुन्नी आतंकियों ने मंगलवार को और बुधवार को बगदाद के निकट स्थित बैंजी और सद्दाम हुसैन के गृह नगर तिकरित पर इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एण्ड लेविटेट (आईएसआईएल) पर कब्जा कर लिया है। बगदाद से मात्र 130 मील दूर तेल रिफाइनरी के लिए प्रसिद्ध बैंजी शहर के लोग जब सवेरे उठे तो देखा कि 60 गाड़ियों में आए आतंकियों ने शहर पर कब्जा कर लिया है और सैनिक चैक पोस्ट और लोग प्रतिष्ठान छोड़कर भाग गए हैं। बैंजी शहर के जिस पॉवर प्लांट से बगदाद को बिजली सप्लाई होती है वह भी आतंकियों के कब्जे में है। करीब छह महीने पहले आतंकियों ने फालूजा शहर पर कब्जा कर लिया था। तब अमेरिका ने कई तरह का सैन्य साजो-सामान इराक सरकार को मुहैया कराया था लेकिन बताते हैं कि उसमें से ज्यादातर हथियारों पर आतंकियों का कब्जा हो चुका है। वाशिंगटन ताजा स्थिति से चिंतित है। वह ड्रोन हमले सहित दूसरे सैन्य मदद देने के लिए कई विकल्पों पर विचार कर रहा है। अमेरिकी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता जेन पसाकी ने कहा कि अमेरिका आईएसआईएल के हमलों के खिलाफ इराकी सरकार और इराक के नेताओं के साथ मिलकर मदद करने के लिए काम करने को प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी सैनिकों को इराक भेजने की कोई योजना नहीं है। मोसुल पर आतंकी कब्जे और इराकी फौज के बिना लड़े हथियार डाल देने से पश्चिमी देशों के सुरक्षा विशेषज्ञ चिंतित हैं। आतंकियों से लोहा लेने की जगह फौजियों ने अपनी वर्दी उतारकर सामान्य लोगों जैसे कपड़े पहन लिए और भाग रही भीड़ का हिस्सा हो गए। अमेरिका ने इराकी फौज की ट्रेनिंग पर लाखों डॉलर खर्च किए हैं। अमेरिका सहित पश्चिमी देश ताजा घटनाक्रम से स्तब्ध हैं। आतंकियों का अगला निशाना बगदाद है। यह क्षेत्र फिर अशांत होने की आशंका है। इराक की राजधानी बगदाद के बाद दूसरे सबसे बड़े शहर मोसुल पर कब्जा करने वाले आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट इन इराक एण्ड सीरिया (आईएसआईएस) के नेता अबू बकर अल बगदादी को टाइम मैगजीन ने दुनिया का सबसे खतरनाक आदमी घोषित किया है। मोसुल पर कब्जे की रणनीति तैयार करने वाले इस आतंकी को फ्रांसीसी अखबार ली मोंडे ने नया ओसामा बिन लादेन कहा है। यह संगठन अलकायदा से जुड़ा हुआ माना जाता है। इसी से जुड़े आतंकियों ने मोसुल पर कब्जा किया है। फालूजा शहर पर पहले से ही इस संगठन का कब्जा है। सीरिया में असद सरकार को सबसे कड़ी चुनौती यही संगठन दे रहा है। सुन्नी आतंकियों के संगठन का नेता अबू बकर अल बगदादी है और उसके पास हजारों लड़ाके हैं जिनमें कई विदेशी भी हैं। मुमकिन है कि कुछ समय में यह अलकायदा से ज्यादा खतरनाक हो जाए। मोसुल की घटना से साफ है कि कैसे सीरिया में चल रहा गृहयुद्ध इराक तक पहुंच गया है। विशेषज्ञ इस घटना को नूरी मलिकी की शिया बहुल सरकार के लिए भी खतरा मान रहे हैं। मलिकी के लिए खतरे की घंटी बज रही है। इतना तय है कि एक बार फिर क्षेत्र में अशांति का दौर आ गया है।

-अनिल नरेन्द्र

No comments:

Post a Comment