Sunday 24 June 2018

निजाम बदलते ही भूल गए पत्थरबाजी, आतंकियों की अब खैर नहीं

निजाम बदलते ही कश्मीर घाटी में बदलाव भी दिखने लगा। गवर्नर राज में अलगाववादियों की ओर से बंद के पहले आह्वान पर बृहस्पतिवार को पूरी घाटी में कहीं भी पत्थरबाजी की घटना सामने नहीं आई। इतना ही नहीं, अलगाववादियों के गढ़ डाउन टाउन में पाबंदियां भी नहीं रहीं। अमूमन बंद के दौरान सुरक्षाबलों पर पथराव की घटनाएं होती रही हैं। बम-बम भोले के जयघोष के साथ 28 जून से शुरू हो रही अमरनाथ यात्रा के लिए भी काउंट डाउन शुरू हो गया है। जम्मू-कश्मीर के प्रवेश द्वार लखनपुर से पवित्र गुफा तक यात्रा की तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा रहा है। बेस कैंपों सहित अन्य यात्रा ट्रेक पर सुरक्षाबलों ने डेरा डाल लिया है। आधिकारिक तौर पर पारंपरिक पहलगाम और बालटाल ट्रेक से यात्रा 28 जून से शुरू होकर दो माह की होगी। अब तक दो लाख से अधिक यात्रियों ने पंजीकरण करवा लिया है। जम्मू-कश्मीर में राज्यपाल शासन लागू होने के बाद से देश के कुछ सबसे चर्चित अधिकारियों को राज्य में बहाल किया गया है। छत्तीसगढ़ के अडिशनल चीफ सैकेटरी बीबी सुब्रह्मण्यम को राज्यपाल ने मुख्य सचिव और पूर्व आईपीएस अधिकारी विजय कुमार को राज्यपाल का सलाहकार नियुक्त किया गया है। सुब्रह्मण्यम की गिनती देश के काबिल अधिकारियों में होती है और उन्हें नक्सल प्रभावित इलाकों में शांति बहाल करने के लिए खासतौर पर जाना जाता है। कुख्यात चन्दन तस्कर वीरप्पन को अक्तूबर 2004 में एक मुठभेड़ में मारने वाली टीम का नेतृत्व उन्हीं ने किया था। मनमोहन सिंह के खास अधिकारियों में भी सुब्रह्मण्यम का नाम था और उन्हें यूपीए-1 में मनमोहन सिंह ने अपना निजी सचिव नियुक्त किया था। वहीं राज्यपाल एनएन वोहरा के सलाहकार नियुक्त किए गए पूर्व आईपीएस अधिकारी विजय कुमार जंगल में उग्रवाद निरोधक अभियान चलाने में माहिर माने जाते हैं। जम्मू-कश्मीर में आतंकियों का खात्मा करने की जिम्मेदारी अब ब्लैक कैट के नाम से मशहूर नेशनल सिक्यूरिटी गार्ड्स (एनएसजी) के कमांडों को सौंपी जाएगी। 57 एनएसजी के करीब 24 कमांडों का दस्ता दो हफ्ते पहले श्रीनगर के पास हुमहमा बीएसएफ कैंप पहुंच चुका है। स्थानीय माहौल में ढलने के लिए कमांडों यहां कड़ा प्रशिक्षण ले रहे हैं। आधिकारिक सूत्रों के अनुसार माहौल के अनुकूल होते ही कमांडों आतंकियों के खिलाफ आपरेशंस में उतर जाएंगे। जल्द ही यहां 100 कमांडों पहुंच जाएंगे। उधर हड़ताल के आह्वान के बीच प्रदर्शन नाकाम करने के लिए गुरुवार को बड़े स्तर पर अलगाववादियों की धरपकड़ हुई। विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व करने जा रहे जेकेएलएफ के अध्यक्ष यासिन मलिक को गिरफ्तार कर लिया गया। हुर्रियत कांफ्रेंस के कट्टरपंथी धड़े के चेयरमैन सैयद अली शाह गिलानी, अलगाववादी नेता मीरवाइज उमर फारुक और मोहम्मद अशरफ सहराई को घरों में नजरबंद कर दिया गया। श्रीनगर की ऐतिहासिक जामा मस्जिद बंद कर दी गई है। मीरवाइज उमर फारुक की गढ़ इस मस्जिद में कोई नमाज के लिए भी नहीं जा सका। पत्रकार शुजात बुखारी की हत्या और सुरक्षाबलों के साथ झड़पों में लोगों की मौत के विरोध में अलगाववादियों ने गुरुवार को हड़ताल का आह्वान किया था। जम्मू-कश्मीर में अमन-शांति व खुशहाली का रास्ता लंबा है। पाकिस्तान और उनके पिट्ठू इतनी आसानी से मानने वाले नहीं। लातों के भूत बातों से नहीं मानते। राष्ट्रपति शासन के पहले ही दिन दक्षिण कश्मीर के पुलवामा जिले में श्रीनगर-जम्मू राष्ट्रीय राजमार्ग पर बुधवार शाम को आतंकियों ने पुलिस की एक गाड़ी पर फायरिंग की। इसमें एक जवान शहीद हो गया जबकि दो घायल हो गए। मैं समझता हूं कि घरों में छिपकर, फायरिंग करके जंगलों में भागने वाले आतंकियों से सही ढंग से निपटने में ब्लैक कैट कमांडों ज्यादा कारगर साबित हो सकते हैं। आतंकी अकसर घनी आबादी वाले इलाकों के घरों में छिपते हैं। ऐसे में सुरक्षाबलों के समक्ष चुनौती रहती है कि आम लोगों को कम से कम नुकसान हो। ऐसे में शहादतों की संख्या भी बढ़ रही है। घाटी पहुंचे कमांडों हिट एंड रन यानि हाउस इंटरवेंशन टीम का हिस्सा है। घाटी के बदले राजनीतिक हालात के बीच अमरनाथ यात्रा पर भी किसी बड़े हमले का इनपुट है। किसी भी स्थिति से निपटने के लिए कमांडों स्टैंड-बाई मोड में हैं।

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