Friday, 7 April 2017

नगर निगम चुनाव ः बागी बने कांग्रेस व भाजपा के लिए चुनौती

दिल्ली नगर निगम चुनाव में नामांकन के आखिरी दिन सोमवार को दिल्ली नगर निगम के सभी दलों के अधिकृत और पार्टी से बगावत कर मैदान में उतरे उम्मीदवारों ने देर रात तक अपने पर्चे भरे। चुनाव के लिए नामांकन भरने वाले प्रत्याशियों का आंकड़ा 4598 पहुंच गया है। चुनाव आयोग के अधिकारी आंकड़ों को जुटाने में लगे हुए हैं। अभी इस संख्या में इजाफा हो सकता है। पांच अप्रैल को नामांकन पत्रों की जांच होगी और शुक्रवार आठ अप्रैल तक नामांकन वापस लिए जा सकते हैं। तीनों नगर निगमों के 272 वार्डों के लिए 4598 नामांकन हुए हैं। इसका मतलब है कि हर वार्ड के लिए 16-17 नाम (औसतन) भरे गए हैं। निगम चुनाव के टिकट बंटवारे से नाराज कांग्रेस और भाजपा के बागी उम्मीदवारों ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं की रातों की नींद हराम कर दी है। दोनों दलों के नेता बागियों को मनाने में जुट गए हैं। यह समस्या कांग्रेस के लिए ज्यादा गंभीर प्रतीत होती है। कांग्रेस में टिकट बंटवारे को लेकर जहां दिग्गज नेता बिफरे हैं वहीं कुछ निगम पार्षदों और पार्टी पदाधिकारियों ने निर्दलीय नामांकन भरकर हाई कमान की मुसीबत और बढ़ा दी है। मैदान में निर्दलीय उतरने वालों में सबसे बुजुर्ग निगम पार्षद रमेश दत्ता दिल्ली गेट, जनता कॉलोनी वार्ड से जाकिर खान, सागरपुर से ऊषा गुप्ता के अलावा कई दिग्गजों ने नामांकन भरा है। मैं रमेश दत्ता को वर्षों से जानता हूं। दावे सह कह सकता हूं कि तमाम दिल्ली कांग्रेस में उनसे कर्मठ कार्यकर्ता कोई नहीं है। उन्होंने अपना सारा जीवन कांग्रेस को दिया है। अस्पताल से ओपन हार्ट सर्जरी कराकर मैदान में उतर आते हैं। इन्हें टिकट न देना कांग्रेस आला कमान के खोखलेपन का संदेश देता है। डाक्टर अशोक वालिया जो एक समय मुख्यमंत्री पद के दावेदार थे, को इस ढंग से नजरंदाज करना कहीं कांग्रेस को भारी न पड़ जाए। बता दें कि रमेश दत्ता कांग्रेस के सबसे लंबे समय तक पार्षद रहे हैं और मिन्टो रोड वार्ड से जीतते आ रहे हैं। परिसीमन के बाद वार्ड बंटा तो दिल्ली गेट वार्ड से टिकट चाहते थे। लेकिन यहां से पूर्व विधायक शोएब इकबाल के बेटे आले मोहम्मद को टिकट दिया गया। रमेश दत्ता पहले भी बतौर निर्दलीय चुनाव जीत चुके हैं। कांग्रेस पार्टी में नेता अपने रिश्तेदारों को टिकट दिलाने में सफल रहे। बेशक अजय माकन कह रहे हैं कि हमने नए चेहरों पर दांव खेला है। पर माफिक माहौल में कहीं टिकट बंटवारा पार्टी पर भारी न पड़ जाए। शीला दीक्षित ने भी टिकट बंटवारे पर असंतोष जताया है। दिल्ली प्रदेश कांग्रेस ने सभी जिला अध्यक्षों से बतौर बागी नामांकन दाखिल करने वाले पार्टी से जुड़े पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं को सूची बनाने को कहा है। ऐसे बागियों को मनाने का काम शुरू हो चुका है।

-अनिल नरेन्द्र

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