Wednesday 19 April 2017

ओडिशा की जनता ने मोदी को सिर-आंखों पर बिठाया

मिशन ओडिशा को लेकर भारतीय जनता पार्टी की कार्यकारिणी की बैठक ओडिशा समेत कोर मंडल क्षेत्र में पार्टी के प्रभाव को बढ़ाने की रूपरेखा पर चर्चा हुई। उल्लेखनीय है कि पार्टी पारंपरिक तौर पर ओडिशा में मानी जाती थी परन्तु इस बार फिजा बदली हुई थी। पांच राज्यों में पार्टी की अभूतपूर्व जीत का प्रभाव साफ नजर आया। पीएम मोदी का भुवनेश्वर में जो रोड शो हुआ उसने वाराणसी के रोड शो की याद दिला दी। लोगों का सैलाब उमड़ पड़ा और प्रधानमंत्री की पूरी गाड़ी फूलों से भर गई। मोदी जिन्दाबाद, मोदी जिन्दाबाद के गगनभेदी नारे लगते रहे। इस रोड शो को भाजपा की बढ़ती ताकत के रूप में देखा जा सकता है और भुवनेश्वर में इसकी सफलता ने न केवल नवीन पटनायक सरकार को हिलाकर रख दिया बल्कि समूचे देश का विपक्ष एक बार फिर बैकफुट पर आ गया। रोड शो में भाजपा के प्रति यह जोश पिछले दिनों की यूपी लहर को दिखा रहा है। इधर राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक ऐसे समय में हुई जब भाजपा ने उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में जबरदस्त जीत दर्ज की है। साथ ही गोवा और मणिपुर में सरकार बनाने में सफल रही है। पार्टी की रणनीति साफ है। ओडिशा में पटनायक विरोधी लहर का फायदा उठाना और राज्य में भी भाजपा का शासन लाना। साथ ही इसके साथ 2019 के लोकसभा और विधानसभाओं की चुनावों में जीत के लिए अभी से तैयारी में लग जाना। मोदी सरकार के अगले महीने (मई) में तीन साल पूरे होने जा रहे हैं। इस मौके पर सरकार ने देश की जनता को अपनी उपलब्धियां बताने की भी तैयारियां शुरू कर दी हैं। हर साल की तरह सभी केंद्रीय मंत्री देशभर में जा-जाकर अपने मंत्रिमंडल के कामों को तो बताएंगे ही साथ-साथ बताएंगे कि रोजगार, ट्रांसपोर्ट और सर्विस सेक्टर को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने अगले तीन साल का रोडमैप भी तैयार कर लिया है। पांच राज्यों में मिली जीत पर पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने कहाöपरिवारवाद, जातिवाद और तुष्टिकरण की राजनीति को जनता द्वारा नकारने का मतलब है कि अब पॉलिटिक्स ऑफ परफार्मेंस का समय आ गया है जिसे सबको स्वीकार कर लेना चाहिए। भाजपा को देश के सभी सूबों में मजबूती के साथ स्थापित करने का संकल्प व्यक्त करते हुए शाह ने कहा कि भाजपा के स्वर्णिम युग को भारत के स्वर्ण युग के साथ जोड़कर ही देखा जाना चाहिए और विश्व में भारत को सर्वश्रेष्ठ स्थान दिलाने के बाद ही भाजपा का स्वर्णिम युग आ सकता है। बता दें कि ओडिशा में हाल के स्थानीय निकाय चुनाव में भाजपा ने 297 जिला परिषद सीटों पर जीत दर्ज की जबकि कांग्रेस सिर्फ 60 जिला परिषद सीटें जीतने में सफल रही। सत्तारूढ़ बीजद हालांकि बढ़त बनाए रखने में सफल रही और उसने 473 सीटें हासिल कीं।

-अनिल नरेन्द्र

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