Thursday 19 March 2020

पीएम बताएं बैंकों के 50 टॉप डिफाल्टर कौन हैं?

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के एक सवाल पर सोमवार को लोकसभा में जमकर हंगामा हुआ। सरकारी रवैए से नाराज कांग्रेस सांसदों ने सदन से बर्हिगमन कर दिया। हुआ यूं कि लोकसभा में पश्नकाल के दौरान राहुल गांधी ने सवाल पूछा कि भारतीय बैंकों के वो 50 सबसे बड़े कर्ज गबन करने वाले कौन हैं? उनके नाम क्या हैं? राहुल ने कहा, भारतीय इकोनामी बुरे दौर से गुजर रही है। हमारी बैंकिंग व्यवस्था काम नहीं कर रही है। बैंक नाकाम हो रहे हैं। इसका असल कारण है, बैंकों से पैसों की चोरी। मैंने पूछा था कि टॉप 50 विलफुल डिफाल्टर्स में कौन हैं? मुझे कोई जवाब नहीं दिया गया। पधानमंत्री जी कहते हें कि जिन लोगों ने हिन्दुस्तान के बैंकों से चोरी की है, उनको पकड़कर लाऊंगा, मैंने पधानमंत्री जी से पूछा कि वे 50 लोग कौन हैं? और मुझे इसका जवाब नहीं मिला, घुमा-फिराकर कुछ जवाब दिए गए। कोई स्पष्ट जवाब नहीं दिया गया। पश्नकाल में राहुल का नम्बर अंतिम में आया। वहीं सरकार की ओर से जब अनुराग ठाकुर ने जवाब देना शुरू किया तो राहुल ने पूछा-वित्तमंत्री क्यों नहीं दें रहे जवाब? जवाब में अनुराग ठाकुर ने कहा कि केन्द्राrय सूचना आयोग की वेबसाइट पर एक लाख से बड़े डिफाल्टर्स के नाम है। इस सवाल के माध्यम से राहुल कांग्रेस का पाप दूसरे के सिर पर फोड़ने की कोशिश कर रहे हैं, अनुराग ने कहा, यस बैंक में अफरातफरी का परोक्ष जिक करते हुए उन्होंने राणा कपूर द्वारा पियंका की पेंटिंग खरीदने की भी चर्चा की। अनुराग ने कहा कि कांग्रेस राज में गलत तरीके से कर्ज बांटे गए। मोदी सरकार सख्ती से ऐसे लोगों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है। इसी बीच मध्याह्न 12 बजे स्पीकर ने पश्नकाल खत्म करने की घोषणा कर दी। कांग्रेस के सदस्यों ने वेल में आकर नारेबाजी शुरू कर दी। राहुल ने भी लगातार पूरक पश्न का समय मांगा। राहुल गांधी को पश्नकाल में अनुपूरक पश्न पूछने की अनुमति नहीं दिए जाने पर कांग्रेस सदस्यों ने कड़ी आपत्ति जताई और इसके विरोध में आसन के समक्ष आकर नारेबाजी भी की। सदन में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने इस पर कड़ी आपत्ति दर्ज करते हुए कहा कि यह सरासर नाइंसाफी है कि राहुल गांधी को अनुपूरक पश्न नहीं करने दिया गया जबकि पश्न काल समाप्त होने में अभी काफी समय बाकी बचा है। इसके बाद कांग्रेस सदस्य इसके विरोध में सदन से वाकआउट कर गए। अनुराग ठाकुर ने यह भी कहा कि मुझे कुछ लोग कह रहे हैं कि पेंटिंग और पोट्रेट पर बात करो कि पेंटिंग किसने बेची और किसको बेची। मैं वो भी कह सकता था कि किसके खाते में पैसा गया और कहां पर गया। लेकिन मैंने यह सब नहीं कहा क्योंकि हम लोग इस पर राजनीति नहीं कर रहे हैं। लेकिन कांग्रेस की ओर से अधीर रंजन चौधरी ने इस मुद्दे पर जवाब देते हुए कहा कि एमएफ हुसैन की एक पेटिंग तकरीबन दो करोड़ रुपए में बेची गई थी ये पेंटिंग राजीव गांधी पोट्रेट तस्वीर थी, जिसे एमएफ हुसैन ने बनाया था। जिसे गांधी परिवार ने राणा परिवार को बेचा था। पूरा मामला 2010 का है। पुनर्गठन में ये शर्त रखी गई है कि अगर आपने यस बैंक के 100 से अधिक शेयर खरीदे हैं तो इसमें से 75 फीसदी हिस्सेदारी को तीन साल के लिए लॉक इन कर दिया जाएगा। यानी तीन साल तक आप ये शेयर नहीं बेच सकेंगे।

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