Thursday 28 April 2016

घायल अख्तर खान को छोड़ बाकी पुलिस भागी

उत्तर पदेश की पुलिस की साख पर एक बार फिर बट्टा लगा है। हौसला बुलंद बदमाशों ने सोमवार को तड़के दादरी कोतवाली स्थित नई आबादी में हिस्ट्रीशीटर के घर दबिश में गए दरोगा अख्तर खान (48) को गोली से उड़ा दिया। इंस्पेक्टर होम सिंह यादव के नेतृत्व में गई पुलिस पार्टी साथी दरोगा को गोली लगते ही मौके से फरार हो गई। शहीद दरोगा के मामा का आरोप है कि डेढ़ घंटे तक अख्तर मौके पर लहूलुहान पड़े रहे। बाद में स्थानीय लोगों ने उन्हें अस्पताल पहुंचाया जहां उन्हें मृत घोषित किया गया। अख्तर दादरी कोतवाली की कोट चौकी के पभारी थे। वारदात स्थल कोतवाली से मुश्किल से चार सौ मीटर की दूरी पर है। बदमाश जावेद व फुरकान अपने तीन साथियों के साथ फरार हो गया। मूलरूप से अलीगढ़ के फिरदोस कॉलोनी पुरानी चुंगी निवासी अख्तर खान सिपाही से पदोन्नत होकर दरोगा बने थे और कोट चौकी पर छह महीने से तैनात थे। रविवार रात पुलिस को नई आबादी मोहल्ले में हिस्ट्रीशीटर बदमाश जावेद के पास भारी मात्रा में हथियार होने की जानकारी मिली। सोमवार तड़के चार बजे इंस्पेक्टर होम सिंह यादव के नेतृत्व में 12 पुलिसकर्मियों की टीम ने छापेमारी की। जावेद अपने साथी फुरकान के घर में छिपा हुआ था। पुलिस टीम के फुरकान के घर का दरवाजा खुलवाते ही भीतर मौजूद पांच बदमाशों जावेद, औरंगजेब, फुरकान, तोता और वसीम ने पुलिस टीम पर हमला कर दिया। दरोगा अख्तर खान को गर्दन और पीठ में गोली लगी। अख्तर को गोली लगते देख पुलिस टीम  के अन्य पुलिसकर्मी जिसमें इंस्पेक्टर भी शामिल था मौके से भाग गए। डेढ़ घंटे बाद पुलिस टीम फिर से मौके पर पहुंची और तब तक बदमाश फरार हो चुके थे। मुख्य आरोपी हिस्ट्रीशीटर जावेद पर हत्या और लूट के 15 मुकदमे दर्ज हैं। ज्यादातर मामले दिल्ली में दर्ज हैं। शहीद हुए सब इंस्पेक्टर अख्तर खान के घर वाले इस मामले में साथी पुलिसकर्मियों पर गंभीर आरोप लगा रहे हैं। ऐसी स्थिति में आरोप लगाना स्वाभाविक भी है। हमेशा आगे रहने वाले एक जांबाज को गोली लगने के बाद टीम में शामिल बाकी पुलिसकर्मी अकेला छोड़कर क्यों भाग गए यह सबसे बड़ा सवाल है। जब टीम पूरी तैयारी के साथ गई थी तो बदमाशों का मुकाबला क्यों नहीं किया गया? कोतवाली भी मुश्किल से कुछ मीटर दूरी पर थी। बताया जा रहा है कि दबिश देने गई टीम में सबसे आगे अख्तर खान ही थे। इस बार भी बदमाश चकमा देकर फरार होने में सफल रहे। आसपास के लोगों की बातों पर गौर करें तो जब स्थानीय लोगों ने देखा कि अख्तर खान खून से लथपथ पड़े हैं और बाकी पुलिस टीम मौके से भाग खड़ी हुई तो उन्होंने ही अख्तर खान को अस्पताल पहुंचाया। यह भी चर्चा है कि अख्तर खान किसी साजिश के शिकार तो नहीं हुए?

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