Tuesday, 8 March 2022

अलविदा वॉर्न

इंग्लैंड के खिलाफ 1993 में खेला जाने वाला ओल्ड ट्रेफर्ड टेस्ट था। शेन वॉर्न की ऑस्टेलिया से बाहर न तो कोई पहचान थी और न ही लेग स्पिन को टेस्ट क्रिकेट का प्रमुख हथियार माना जाता था। वहीं वॉर्न की सीधे हाथ की कलाई से माइक गैटिंग को फेंकी गई गेंद ऐसी गेंद निकलीं जो न सिर्प सदी की गेंद बनी बल्कि लेग स्पिन और इसके जादूगर के रूप में इस गेंदबाज को स्थापित कर गई। एशेज का यह इंग्लैंड का दौरा हो या फिर 1999 के विश्व कप का सेमीफानल और फाइनल, वॉर्न का चहलकदमी करता एक्शन और 60 डिग्री तक गेंद को घुमाना क्रिकेट में सफलता का पर्याय बन गया। वॉर्न ने 1993 के ओल्ड ट्रेफर्ड टेस्ट से पहले सिर्प 11 टेस्ट खेले थे। इस टेस्ट में उन्होंने माइक गैटिंग को लेग स्टम्प के काफी बाहर गेंदें फेंकी, गैटिंग इसे खेलने के मूड में नहीं थे, लेकिन यह इतनी टर्न हुई कि गैटिंग को बल्ले से छकाते हुए स्टम्प में जा घुसी। इसे सदी की गेंद बताया जाता है। सिर्प टेस्ट ही नहीं, जिताए वार्न ने बल्कि 2008 में राजस्थान रॉयल्स को पहला आईपीएल खिताब भी दिलाया। स्पिनरों की पहचान बनाने वाले शेन वॉर्न अब नहीं रहे। दुनिया के महानतम स्पिनर चल बसे। हम उन्हें अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। -अनिल नरेन्द्र

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