Tuesday 21 April 2020

मौलाना मोहम्मद साद कांधलवी पर कसता शिकंजा

निजामुद्दीन स्थित तबलीगी मरकज में धर्म के नाम पर चल रही देश विरोरधी गतिविधियों की परतें खुलनी शुरू हो गई हैं। लॉकडाउन से पहले मरकज के खातों में विदेश से बेशुमार दौलत आई थी, ऐसा कहा जा रहा है। तबलीगी जमात के प्रमुख मौलाना मोहम्मद साद कांधलवी के खिलाफ प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा प्रीवेंशन ऑफ मनी लांड्रिंग एक्ट यानि हवाला कानून के तहत मामला दर्ज किए जाने के साथ उन पर कानूनी शिकंजा और कस गया है। सूत्रों के मुताबिक निजामुद्दीन स्थित तबलीगी जमात के मरकज पर कार्यक्रम से पहले बैंकों की ओर से एक अलर्ट जारी किया गया था। यह अलर्ट इसलिए जारी किया गया था, क्योंकि मरकज के एकाउंट में अचानक से कैश फ्लो तेजी से बढ़ा था। बैंक ने अपने अलर्ट में कहा था कि मरकज के एकाउंट में अचानक कैश फ्लो बढ़ गया है। यह पैसा विदेशों से आ रहा है। बैंक के अधिकारियों ने जमात के अमीर मौलाना साद से मुलाकात करने की कोशिश भी की, लेकिन वह नहीं मिला। इसके पीछे के कारणों को जानने और बैंक अलर्ट को नजरंदाज करने के मामले में दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने जमात के एकाउंटेंट्स से जवाब मांगा है। वहीं मरकज के बैंक खातों को लेकर ईडी ने शिकंजा कसते हुए मुकदमा दर्ज कर लिया है। वस्तुत दिल्ली पुलिस द्वारा दर्ज प्राथमिकी की जांच के दौरान पता चला कि 13-15 मार्च तक हुए विशेष आयोजन से पहले जमात के बैंक खातों में विदेश से बहुत बड़ी रकम आई थी। जाहिर है कि साद की जो हैसियत रही है, उनमें बैंक के निर्देश की अवहेलना हुई। बैंक अधिकारियों ने समय मांगा, लेकिन व्यस्तता का हवाला देकर मौलाना साद ने मिलने से मना कर दिया। हालांकि बैंक प्रबंधन ने खाते से लेनदेन पर रोक नहीं लगाई। पुलिस ने भी बैंक से जानकारी लेकर जमात के सीए को नोटिस देकर जवाब मांगा है। चूंकि अब साद से पूछताछ हो रही है तो संभव है कि जानकारियां सामने आएं। इसमें कोई दो राय नहीं कि मौलाना मोहम्मद साद की कठिनाइयां बढ़ती जा रही हैं। पुलिस द्वारा दर्ज प्राथमिकी, जिसमें अब गैर-इरादतन हत्या का मामला भी जुड़ गया है तथा हवाला मामले को एक साथ देखने की जरूरत है। प्रवर्तन निदेशालय के आ जाने का मतलब है कि उनकी देश-विदेश की संपत्तियों का खुला चिट्ठा खुलेगा। उधर मौलाना साद और तबलीगी जमात से जुड़े विदेशी नागरिकों पर पुलिस ने शिकंजा कसने की तैयारी कर ली है। पुलिस आयुक्त एसएन श्रीवास्तव ने क्राइम ब्रांच को निर्देश दिया है कि तबलीगी जमात से जुड़ा कोई भी विदेशी नागरिक क्राइम ब्रांच की जानकारी के बगैर देश छोड़कर जाना नहीं चाहिए। गौरतलब है कि जमात से जुड़े 1309 विदेशी थे, इनमें से 225 दिल्ली में ही थे। वहीं बृहस्पतिवार को ईडी ने भी मौलाना साद के खिलाफ मनी लांड्रिंग का केस दर्ज कर लिया है। सूत्रों का कहना है कि मौलाना साद बार-बार अपना निवास स्थान बदल रहा है। यह भी कहा जा रहा है कि मौलाना साद प्राइवेट डॉक्टर के संपर्प में था और कोरोना जांच भी करवाई थी। हालांकि उसकी रिपोर्ट नेगेटिव आई है, ऐसा दावा किया जा रहा है। साद पर शिकंजा कसता जा रहा है। पकड़े जाने पर कई राज खुलेंगे।

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