Sunday, 28 November 2021

आबादी में पहली बार 1000 पुरुषों पर 1020 महिलाएं

देश के लिए सुकून की खबर है। पहली बार भारत की कुल आबादी में प्रति 1000 पुरुषों पर महिलाओं की संख्या 1020 हो गई है। बुधवार को जारी नेशनल हैल्थ-सर्वे-5 के आंकड़ों से यह पता चलता है। इससे पहले 2015-16 में हुए एनएफएफएस-4 में यह आंकड़ा प्रति 1000 पुरुषों पर 991 महिलाओं का था। यही नहीं, जन्म के समय का लिंगानुपात भी सुधरा है। 2015-16 में यह प्रति 1000 बच्चों पर 919 बच्चियों का था। ताजा सर्वे में यह आंकड़ा प्रति 1000 बच्चों पर 929 बच्चियों पर पहुंच गया है। खास बात यह है कि कुल आबादी में लिंगानुपात शहरों के बजाय गांवों में बेहतर है। गांवों में प्रति 1000 पुरुषों पर 1037 महिलाएं हैं, जबकि शहरों में 985 महिलाएं हैं। आबादी में महिलाओं का अनुपात भले ही बढ़ गया है, लेकिन अभी तक उनकी स्थिति बहुत बेहतर नहीं हुई है। आज भी देश में 41 प्रतिशत महिलाएं ही ऐसी हैं जिन्होंने 10 वर्ष से ज्यादा स्कूली शिक्षा प्राप्त नहीं की है, यानि वह 10वीं कक्षा से आगे नहीं पढ़ सकीं। 59 प्रतिशत महिलाएं 10वीं से आगे नहीं पढ़ सकीं। ग्रामीण इलाकों में तो सिर्फ 33.7 प्रतिशत महिलाएं ही 10वीं के आगे नहीं पढ़ सकीं। 5जी के दौर में भी इंटरनेट देश की सिर्फ 37.3 प्रतिशत महिलाओं तक पहुंच पाया है।

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