Sunday, 4 July 2021

बाकी कुछ बचा तो महंगाई मार गई

कोरोना की दूसरी लहर के बाद महंगाई की न खत्म होने वाली लहर ने मध्यम वर्ग की कमर तोड़कर रख दी है। हर दिन बढ़ती महंगाई ने खाने-पीने की चीज से लेकर लगभग हर चीज के दाम बढ़ा दिए हैं। रसोई के सामान व एलपीजी सिलेंडर ने आम आदमी की जेब ज्यादा ढीली कर दी है। एलपीजी सिलेंडर 2021 में ही करीब 140 रुपए महंगा हो चुका है। वहीं खाने के तेल की कीमत इस साल मई में 11 सालों के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई, जिसकी जरूरत हर घर में होती है। इतना ही नहीं, हर घर में इस्तेमाल होने वाला दूध भी महंगा हो गया है। ऐसे में सवाल यह है कि आखिर गृहस्थी कैसे चलेगी? कोरोना की वजह से अधिकतर लोगों की आमदनी पर असर पड़ा है, लॉकडाउन की वजह से लाखों लोग बेरोजगार हो चुके हैं, जबकि खर्च कम होना तो दूर उल्टा बढ़ता ही जा रहा है। यहां तक कि डीजल-पेट्रोल के दाम भी आसमान छू रहे हैं। 2021 के शुरुआती छह महीनों में ही एलपीजी गैस सिलेंडर की कीमत 140.50 रुपए बढ़ चुकी है। 2021 की शुरुआत में दिल्ली में एलपीजी गैस सिलेंडर की कीमत 694 रुपए थी। अभी दिल्ली में गैस सिलेंडर की कीमत 834.50 रुपए हो चुकी है। घरेलू खाद्य तेल बाजार में खाने के तेल की कीमतें भी पिछले एक साल में काफी बढ़ी हैं। इस दौरान सरसों के तेल की कीमत करीब 44 प्रतिशत बढ़ गई है और यह 118 से बढ़कर 171 रुपए हो गई है। सोयाबीन तेल और सूरजमुखी का तेल भी करीब 50 प्रतिशत तक महंगा हो चुका है। खाने के तेल की कीमतें मई के अंत तक पिछले 11 सालों के उच्चतम स्तर पर जा पहुंची। इतना ही नहीं, अमूल का दूध भी अब महंगा हो गया है। दूध ऐसी चीज है जिसका इस्तेमाल हर घर में होता है यानि पहले से ही महंगाई की मार झेल रहे लोगों को अब दूध भी महंगा खरीदना पड़ेगा। इस बढ़ोत्तरी के बाद अब अमूल गोल्ड दूध 29 रुपए का आधा लीटर हो गया है। दुखद पहलू यह है कि सरकार को इस कमरतोड़ महंगाई को रोकने में कोई दिलचस्पी नहीं। गरीब आदमी मरे तो मरे।

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